रायपुर, ब्यूरो। छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित दंतेवाड़ा जिले में सीआरपीएफ ने मानवता की अनोखी मिसाल पेश की है। सीआरपीएफ के जवानों ने तेज बुखार से पीड़ित महिला को स्ट्रेचर पर लादकर सात किलोमीटर दुर्गम रास्ता पैदल पार किया और उसे नजदीक के अस्पताल में भर्ती कराकर ही दम लिया।
दरअसल, 195वीं बटालियन की सीआरपीएफ टीम रविवार शाम नक्सिलयों के खिलाफ आॅपरेशन के बाद लौट रही थी। कातेकल्याण पुलिस स्टेशन के पास नयनार गांव में उन्हें 40 वर्षीय महिला मिली, जिसे तेज बुखार था। कोसी नामक वह महिला सड़क किनारे लगभग बेहोश अवस्था में पड़ी हुई थी। उस वक्त कोसी के पति और रिश्तेदार कहीं गए थे। दो महीने की बच्ची जरूर अपनी मां (कोसी) के पास रो रही थी।
ऐसे में सीआरपीएफ ने उस महिला की मदद के लिए एयरलिफ्टिंग करने की सोची, लेकिन पहाड़ियों से घिरे होने की वजह से यह संभव नहीं था। किसी एंबुलेंस को बुलाना भी तत्काल मुश्किल था। केवल सड़क के जरिए ही उस महिला को अस्पताल पहुंचाया जा सकता था।
ऐसे में सीआरपीएफ के जवानों ने लकड़ियों से स्ट्रेचर बनाया और उस पर महिला को लिटा दिया। महिला के बच्चे को उन्होंने कंधे पर रखा और सफर पर निकल पड़े। पहाड़ और नदियों को पार कर लगभग सात किलोमीटर पैदल उन्होंने सफर तय किया।
इसके बाद जवान गतम गांव पहुंचे। वहां से एंबुलेंस मंगवाकर कम्यूनिटी हेल्थ सेंटर में उस महिला को भर्ती कराया गया। डॉक्टरों की टीम उस महिला का इलाज कर रही है और उसकी हालत में सुधार है।
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